उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने लैंगिक भेदभाव पर व्यक्त की गहरी चिंता

न्यूज़ राजनीती राष्ट्रीय

published by saurabh

इसे भी देंखें https://www.youtube.com/watch?v=ta5scYWKE4o&t=263s

नई दिल्ली(वार्ता): उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने महिलाओं के साथ सामाजिक एवं लैंगिक भेदभाव पर गहरी चिंता व्यक्त करते हुए कहा है कि नए भारत के मार्ग में आने वाली अशिक्षा, गरीबी जैसी हर चुनौती के खिलाफ साझे संकल्प के साथ युद्ध स्तर पर अभियान चलाना होगा। उपराष्ट्रपति ने रविवार को सोशल नेटवर्किंग वेबसाइट फेसबुक पर लिखे इस लेख में कहा कि आजादी के सात दशक बाद भी देश सामाजिक और लैंगिक भेदभाव जैसी विसंगतियों से जूझ रहा है। नए भारत के मार्ग में आने वाली अशिक्षा, गरीबी जैसी हर सामाजिक चुनौती के खिलाफ हमें साझे समन्वित संकल्प के साथ युद्ध स्तर पर अभियान चलाना होगा।

यह भी पढ़ें- https://sindhutimes.in/shooting-permission-for-films-tv-serials/

देश के हर नागरिक को, विशेषकर युवाओं को, एक ऐसे समृद्ध, सम्पन्न और खुशहाल भारत के इस यज्ञ में योगदान करना होगा जिसमें किसी प्रकार का कोई भेदभाव या विसंगति न हो। उन्होंने ‘भारतीय सांसद जनसंख्या एवं विकास संगठन’ की दो रिपोर्ट ‘भारत में जन्म लिंग अनुपात स्थिति’ तथा ‘वृद्ध जनसंख्या स्थिति और सहयोग प्रणाली’ का उल्लेख करते हुए कहा कि वर्ष 2001 से 2017 की अवधि में प्रतिकूल लैंगिक अनुपात का अध्ययन किया गया है, जिससे उस समाजिक विकृति का संकेत मिलता है जो यदि जारी रही तो समाज की स्थिरता पर ही गंभीर प्रश्नचिन्ह लगने लगेगा। श्री नायडू ने कहा,“ये हमेशा याद रखना जरूरी है कि समाज में महिलाओं का सम्मान करना, उन्हें बराबरी के अवसर देना ये हमारे सामाजिक संस्कार रहे हैं। ‘यत्र नार्यस्तु पूज्यंते रमंते तत्र देवता:, यत्रैतास्तु न पूज्यंते सर्वास्तत्राफला: क्रिया:’ इस श्लोक को भला हम कैसे भूल सकते हैं जिसमें कहा गया है कि जहां नारी का सम्मान होता है वहीं देवताओं की दिव्यता प्रकट होती है, और जहां नारी का सम्मान नहीं होता वहां कितने ही सत्कर्म क्यों न हों, वे सुफलित नहीं होते।”

कृषि से संबन्धित समाचारों के लिए लागइन करें–http://ratnashikhatimes.com/

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *