published by saurabh
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नयी दिल्ली ,(वार्ता): घरेलू मार्गों पर हवाई यात्रियों की संख्या जून की तुलना में मामूली वृद्धि के साथ जुलाई में 21 लाख के पार पहुँच गई। नागर विमानन महानिदेशालय के आज जारी आँकड़ों के अनुसार, जुलाई में 21 लाख सात हजार लोगों ने हवाई सफर किया। इस साल जून में यह आँकड़ा 19 लाख 84 हजार था। इस प्रकार जून की तुलना में जुलाई में यात्रियों की संख्या में वृद्धि बहुत ज्यादा उत्साहजनक नहीं है। पिछले साल जुलाई के मुकाबले यात्रियों की संख्या में 82.30 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई है। जुलाई 2019 में एक करोड़ 19 लाख पाँच हजार लोगों ने घरेलू मार्गों पर उड़ान भरी थी। सरकार को उम्मीद थी कि इस साल जुलाई तक कोविड-पूर्व स्तर की तुलना में एक-तिहाई यात्री विमान सफर करने लगेंगे, लेकिन अब तक घरेलू विमानन क्षेत्र उस स्तर पर नहीं पहुँच सका है। भरी सीटों का अनुपात (पीएलएफ) जुलाई में अधिकतम 70 प्रतिशत रहा जो किफायती विमान सेवा कंपनी स्पाइसजेट ने हासिल किया।
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अन्य विमान सेवा कंपनियों के पीएलएफ का औसत और भी खराब रहा। इंडिगो की 60.2 प्रतिशत, एयर एशिया इंडिया की 56.2 प्रतिशत, विस्तारा की 53.1 प्रतिशत, स्टार एयर की 52.3 प्रतिशत, गोएयर की 50.5 प्रतिशत और सरकारी विमान सेवा कंपनी एयर इंडिया की 45.5 प्रतिशत सीटें ही भर सकीं। स्पाइसजेट को छोड़कर अन्य सभी बड़ी एयरलाइंस का पीएलएफ जून की तुलना में घट गया है जिससे पता चलता है कि लोग अभी हवाई यात्रा करने से झिझक रहे हैं। इस साल जनवरी से जुलाई के दौरान सात महीने में घरेलू हवाई यात्रियों की संख्या में 54.84 प्रतिशत कम रही। पिछले साल इसी अवधि में आठ करोड़ 25 लाख 64 हजार यात्रियों ने हवाई सफर किया था। इस साल उनकी संख्या घटकर तीन करोड़ 72 लाख 85 हजार रह गई है। इनमें तीन करोड़ 29 लाख 12 हजार यात्री 24 मार्च तक सफर कर चुके थे। सरकार ने कोविड-19 के मद्देनजर 25 मार्च से नियमित यात्री विमान सेवा पर पूरी तरह प्रतिबंध लगा दिया था। इसके बाद 25 मई से घरेलू मार्गों पर नियमित सेवा पुन: शुरू की गई है।
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