published by saurabh
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कुशीनगर (ST News): उत्तर प्रदेश के कुशीनगर में गंडक नदी की कटान से खड्डा क्षेत्र में 400 एकड़ कृषि योग्य भूमि पानी में विलीन हो गयी है। आधिकारिक सूत्रों ने शुक्रवार को बताया कि महदेवा गांव के पास तक पहुंची गंडक नदी तेजी से खेतों को काट रही है। अब तक करीब 400 एकड़ खेती लायक जमीन कटकर नदी में विलीन हो चुकी है। आबादी पर बढ़ते खतरे को देखते हुए ग्रामीण भयभीत हैं। उन्होने बताया कि छितौनी-बगहा रेल सह सड़क पुल के पास महदेवा गांव बसा है। बिहार को जोड़ने वाले राष्ट्रीय राजमार्ग के बगल में लगभग चार हजार की आबादी का यह गांव बाढ़ से प्रभावित है। ग्राम प्रधान जितेंद्र साहनी बताते है कि बाढ़ में 10 दिनों तक गांव डूबा था। लोग सड़क पर शरण लिए थे।
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पानी कम होने पर राहत मिली लेकिन नदी ने कटान शुरू कर दिया है। अब तक करीब 400 एकड़ खेती कट चुकी है। इसमें लगी धान, केला व गन्ना की फसल नदी में विलीन हो चुकी है। अब गांव से नदी की दूरी मात्र 50 मीटर ही रह गई है। तहसीलदार खड्डा डॉ. एसके राय ने कटान स्थल पर पहुंचकर बाढ़ खंड के अभियंताओं के साथ चर्चा की। तहसीलदार ने बताया कि कटान की जानकारी वरिष्ठ अफसरों को दी गई है। ग्रामीण बाढू, सामदेव, श्यामबदन, मुन्ना, गौरी, कमलेश, लालजी, अर्जुन, बिहारी, महदेव, राजाराम आदि का कहना है कि खेत नदी में विलीन हो गया, अब आबादी की बारी है। इस संबंध में बाढ़ खंड के अवर अभियंता रवि कुमार ने बताया कि नदी के कटान से गांव को खतरा है। यहां नदी व गांव के बीच कोई बांध नहीं है। इसकी रिपोर्ट उच्चाधिकारियों को दी गई है।
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